नई दिल्ली। चुनावी घोषणापत्र में पार्टियों को कर्ज माफी जैसा वादा करने से रोकने की मांग करने वाली याचिका पर सुप्रीम कोर्ट ने पर सुनवाई से इनकार कर दिया था। कोर्ट ने याचिकाकर्ता से हाईकोर्ट जाने को कहा।
याचिका वकील रीना सिंह की ओर से दायर की गई थी। याचिका में कहा गया था कि ऐसे वादों को पूरा करने से अर्थव्यवस्था पर बुरा असर पड़ता है। केंद्र और राज्यों को कर्ज माफी की इजाजत नहीं होनी चाहिए। याचिका में कहा गया था कि राजनीतिक दलों को अपने चुनावी घोषणापत्र में कर्ज माफी योजना या किसी अन्य आर्थिक योजनाओं को शामिल करने की अनुमति नहीं दी जानी चाहिए।
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