रांची। मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी एल खियांग्ते ने कहा कि लोकसभा चुनाव में ज्यादा से ज्यादा मतदाताओं की भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए चुनाव आयोग की ओर से कई दिशा निर्देश दिए गए हैं। इस कड़ी में ही मतदाताओं को जागरुक करने के लिए स्वीप के तहत कई कार्यक्रम चलाए जा रहे हैं। खियांग्ते गुरूवार को मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी के कार्यालय में इंडस्ट्रीज और कॉरपोरेट संस्थानों के नोडल अफसरों और मास्टर ट्रेनरों के लिए आयोजित प्रशिक्षण कार्यक्रम को संबोधित करते हुए कहा कि वे सीएसआर के तहत मतदाताओं को शिक्षित और जागरुक करने के लिए अभियान चलाएं। उन्होंने कहा कि सीएसआर के तहत शिक्षा पर भी खर्च का प्रावधान है और इसका इस्तेमाल वे मतदाताओं को शिक्षित करने के लिए कर सकते हैं। उन्होंने नोडल अफसरों और मास्टर ट्रेनरों को कहा है कि वे यहां से प्रशिक्षण लेने के उपरांत अपने-अपने इंडस्ट्रीज, ट्रेड यूनियन, कामगारों, स्थानीय संस्थाओं और स्थानीय लोगों की चुनाव प्रक्रिया में भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए प्रशिक्षित करें। खियांग्ते ने उम्मीद जताई कि इंडस्ट्रीज और कॉरपोरेट संस्थानों के सहयोग से चुनाव में मतदान प्रतिशत को बढ़ाने में मदद मिलेगी।
इस मौके पर अपर मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी विनय चौबे ने इंडस्ट्रीज और कॉरपोरेट संस्थानों के नोडल अफसरों और मास्टर ट्रेनरों को कहा कि वे स्वीप के तहत मतदाता जागरूकता अभियान चलाएं, ताकि मतदान के प्रतिशत को ब़ढ़ाया जा सके। चौबे ने कहा कि ईवीएम-वीवीपैट का डिजाइन इस तरह तैयार किया गया है कि इसके हैकिंग अथवा किसी तरह के छेड़छाड़ की कोई गुंजाइश नहीं है। चौबे ने बताया कि इस बार लोकसभा चुनाव में एम-3 ईवीएम का इस्तेमाल किया जाएगा। इसमें रियल टाइम वोट कास्ट की व्यवस्था के साथ कई नई तकनीकों को जोड़ा गया है। चौबे ने कहा कि औद्योगिक एवं व्यवसायिक प्रतिष्ठानों द्वारा मतदान के लिए अपने कर्मियों को अवकाश दिया जाना है। वैसे प्रतिष्ठान जहां कार्य की आवश्यकता को देखते हुए कर्मियों को बुलाना नितांत आवश्यक है तो वहां शिफ्ट में कर्मियों को मतदान करने का अवसर दिया जाए।
इस अवसर पर अपर मुख्य निर्वाचन पदाधिकारी डॉ मनीष रंजन ने इंडस्ट्रीज और कॉरपोरेट संस्थानों के नोडल अफसर और मास्टर ट्रेनरों के प्रशिक्षण कार्यक्रम में मतदाता भागीदारी को बढ़ाने के लिए चलाए जा रहे स्वीप के बारे में विस्तार से जानकारी दी। रंजन ने कहा कि स्वीप सिर्फ पब्लिसिटी, विज्ञापन, प्रचार-प्रसार और जनसंपर्क का माध्यम नहीं है, बल्कि इसके जरिए मतदाताओं को शिक्षित, सोशल मोबलाइजेशन, सामाजिक गतिविधि और मजबूत सहभागिता का सशक्त माध्यम है। उन्होंने कॉरपोरेट सेक्टर से कहा कि इस बार चुनाव में मतदान के प्रतिशत को कम से कम दस प्रतिशत तक बढ़ाने, महिला-पुाताओं के बीच के गैप को कम करने, चुनाव प्रक्रिया में युवाओं की भागीदारी बढ़ाने। इसके लिए उन्होंने स्थानीय हाट-बाजार में जागरुकता अभियान चलाने, कम मतदान वाले इलाकों को चिन्हित कर वहां लोगों को मतदान के लिए प्रेरित करने, युवा मतदाताओं को सक्रिय करने के लिए स्वीप कार्यक्रमों को तेज करने को कहा। रंजन ने कहा कि युवा, दिव्यांग, महिला और बुजुर्ग मतदाताओं के लिए मतदान केंद्रों पर विशेष सुविधाएं मुहैय्या कराई जा रही है। इस बार मतदान केंद्रों को इस तरह से बनाया गया है कि मतदाताओं को अधिकतम एक किलोमीटर तक ही मूव करना होगा। उन्होंने बताया कि मतदाताओं को परेशानी नहीं हो इसके लिए उनके घर पर वोटर स्लिप पहुंचाया जाएगा।
वोटर अवेयरनेस फोरम का करें गठन
उप निर्वाचन पदाधिकारी दिलीप कुमार सिंह और राजेश रंजन वर्मा ने प्रशिक्षण कार्यक्रम में आए इंडस्ट्रीज और कॉरपोरेट संस्थानों के नोडल अफसरों और मास्टर ट्रेनरों को कहा गया कि वे अपने यहां वोटर अवेयरनेस फोरम का गठन करें। इसके अंर्तगर्त वे अपने संस्थान में जितने भी मतदाता हैं उनका नाम मतदाता सूची में दर्ज कराना सुनिश्चत करें। साथ ही अपने इलाके के सभी मतदान केंद्रों में चुनाव पाठशाला और विद्यालय-महाविद्यालयों में मतदाता साक्षरता क्लब का गठन करें और सीएसआर के तहत यहां मतदाताओं को जागरुक करने के लिए प्रचार सामग्रियों को उपलब्ध कराएं। उन्हें यह भी कहा गया कि वे मतदाताओं को जागरुक करने के लिए रन फॉर वोट, रैली, हस्ताक्षर अभियान और बैनर-पोस्टर-पंपलेट्स का इस्तेमाल करें, ताकि उनकी चुनाव में सहभागिता सुनिश्चित हो सके।
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