रामगढ़। जिले के रजरप्पा थाना क्षेत्र से अपहृत क्लासिक इंजीकॉम के नाइट गार्ड राजू महतो को पुलिस ने गुरुवार देर रात मुक्त करा लिया है। अपहरण की घटना के 9 दिनों के बाद पुलिस को यह सफलता मिली है। इस घटना की पुष्टि करते हुए रामगढ़ एसपी प्रभात कुमार ने बताया कि पुलिस लगातार राजू की तलाश में छापेमारी कर रही थी। गुरुवार की रात सटीक सूचना के आधार पर पुलिस की टीम गोला थाना क्षेत्र के जंगलों में अलर्ट थी। टीपीसी के सदस्यों को पुलिस ने इस तरह मजबूर कर दिया कि उन्हें राजू को सकुशल छोड़ना पड़ा। एसपी प्रभात कुमार ने बताया कि राजू से फिलहाल पूछताछ हो रही है। घटना के 9 दिन तक उसके साथ क्या हुआ, नक्सलियों ने उसे कहां रखा और उसके साथ किस तरह का व्यवहार किया गया? इन सारी बातों का पता लगाया जा रहा है। इसके अलावा जिन लोगों ने उसका अपहरण किया था, उनकी संख्या क्या थी, उनका हुलिया और उनके मुख्य सरगना के बारे में भी पूछताछ की जा रही है।
कंपनी के आश्वासन के आधार पर नक्सलियों ने राजू को छोड़ा
एसपी ने बताया कि तथाकथित नक्सली संगठन डीपीसी के सदस्य लगातार क्लासिक इन्फॉर्म के अधिकारियों से संपर्क कर रहे थे । लेवी की मांग को लेकर वे कंपनी के अधिकारियों को वार्ता के लिए भी बुला रहे थे। कंपनी भी उनसे फोन पर बात कर उन्हें यह आश्वस्त किया कि उनका काम यहां पर लगभग 2 वर्षों तक चलेगा सड़क निर्माण का कार्य अभी शुरू ही हुआ है । कंपनी ने यह भी आश्वासन दिया है कि वे उनके साथ मिलकर और उनके अनुसार काम करेंगे। साथ ही वे जो चाहते हैं, कंपनी उन्हें वह मुहैया कराएगी लेकिन इसके लिए कंपनी भी समय चाहती है। कंपनी के अधिकारियों के साथ इस वार्ता के बाद नक्सलियों ने राजू महतो को रिहा करने का फैसला लिया एसपी ने बताया कि जब राजू को बरामद करने के लिए पुलिस टीम गई थी तो उस वक्त नक्सलियों को पूरी तरीके से घेर लिया गया था। टीपीसी संगठन के जो सदस्य राजू को छोड़ने वहां आए थे, उन्होंने अपनी जान बचाने के लिए राजू के सिर पर बंदूक तान दी। पुलिस का मुख्य उद्देश्य राजू की सकुशल बरामदगी करना था। इसी वजह से पुलिस थोड़ा पीछे हटी। इसके बाद नक्सली इस मौके का फायदा उठाकर भागने में सफल रहे। फिलहाल इस मामले में किसी की भी गिरफ्तारी नहीं हुई है।
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