Ranchi : झारखंड के वरिष्ठ आईएएस अधिकारी केके खंडेलवाल में एक बार फिर से अपने छात्रों को आईआईटी में पहुंचाया 7 छात्रों में से 5 छात्रों का चयन देश के आईआईटी कॉलेज हुआ! सफल छात्रों में वैष्णवी को आईआईटी कानपुर में कंप्यूटर साइंस मिला है. शशांक कुमार को आईआईटी गुवाहाटी मे कंप्युटर साइंस मिला है. अलीशा को आईआईटी मुंबई में इलेक्ट्रॉनिक्स ब्रांंच मिला मिला ,है यशराज को आईआईटी बीएचयू ,शुभम सोनी को आईआईटी बीएचयू मिला है.
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वैष्णवी लड़कियों में स्टेट टॉपर है
केके खंडेलवाल के द्वारा पढ़ाई गई वैष्णवी का एडमिशन आईआईटी कानपुर में कंप्यूटर साइंस ब्रांच में हुआ है. वैष्णवी लड़कियों की कैटेगरी में झारखंड स्टेट टॉपर भी है.
2017 में भी 6 बच्चों का हुआ था सिलेक्शन
केके खंडेलवाल द्वारा वॉलंटियर रूप से बच्चों को आईआईटी का प्रिपरेशन कराया जाता है .इसके तहत 2017 में भी 6 बच्चों का परीपरेशन कराया गया था और सभी बच्चों का सिलेक्शन देश के टॉप आईआईटी में हुआ था.
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मैथ्स और फिजिक्स पढ़ाते हैं
केके खंडेलवाल ने आईआईटी में प्रवेश के लिए इन छात्रों को गणित और भौतिकी विषय की तैयारी करायी थी. उनसे इन दो विषयों में अच्छी पढ़ाई के कारण अच्छे अंकों के कारण उन्हें सफलता मिली. सफल विद्यार्थियों और अभिभावकों ने परिणाम आने के बाद केके खंडेलवाल के आवास पर जाकर उन्हें बधाई दी और उनका आभार प्रकट किया.
पेरेंट्स ने भी जताया आभार
अभिभावकों के अनुसार जब उनके बच्चों की तैयारी का पूरा दायित्व उन्होंने ले लिया था.उसी समय उन्हें पूरा विश्वास हो चुका था कि उनके बच्चों को आईआईटी में प्रवेश मिल जाएगा. अनुपम खंडेलवाल को ऑल इंडिया में 9 वा रैंक मिल चुका है. इसलिए जब उन्हें खंडेलवाल से अपने बच्चों को शिक्षा दिलाने का अवसर मिला तो काफी प्रसन्नता हुई.
कांसेप्ट क्लियर होना जरूरी है
आईआईटी कानपुर में कंप्यूटर साइंस में एडमिशन लेने वाली वैष्णवी बताती है खंडेलवाल सर के पढ़ाई में सबसे अच्छी बात यह रही कि उन्होंने हर क्वेश्चन डेपथ मे समझाया ,जिसका नतीजा है कि रिजल्ट बेहतर रहा. आईआईटी बीएचयू में एडमिशन लेने वाले यशराज बताते हैं आईआईटी की पढ़ाई के लिए क्वालिटी टाइम जरूरी होती है .बहुत अधिक टाइम लेकर बैठने से लाभ नहीं मिलता है. जितना देर भी पढ़े क्वालिटी की पढ़ाई करें. आईआईटी मुंबई में एडमिशन लेने वाली अलीशा बताती है एक क्वेश्चन का 4 तरीके से आंसर बनाने के बाद जो सबसे शॉर्ट में आंसर होता था उसको हमेशा प्रैक्टिस में लाया.
200 सेट एडवांस लेबल टेस्ट कराया गया
बच्चों को शुभकामनाएं देते हुए केके खंडेलवाल बताते हैं मार्च 2019 से ही हमने बच्चों को आईआईटी की तैयारी करानी शुरू की. ऑफिस जाने से पहले और ऑफिस से आने के बाद जितना समय मिला बच्चों को पढ़ाया. बीच में जब भी समय मिलता रहा बच्चों को पढ़ाते रहे. 2 साल में 200 एडवांस लेबल टेस्ट पेपर बच्चों को कराया गया . अपने बनाए हुए नोट्स से बच्चों को पढ़ाया है.
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