नई दिल्ली। पिछले दो महीनों में लगातार बिकवाली करने के बाद विदेशी पोर्टफोलियो निवेशकों (एफपीआई) ने सितंबर भारतीय पूंजी बाजार में 7,714 करोड़ रुपये की शुद्ध निवेश किया है। सरकार के आर्थिक सुधारों और बजट में एफपीआई पर लगाए गए कर अधिभार को वापस लेने की घोषणा के बाद विदेशी निवेशकों का निवेश बढ़ा है। पिछले सप्ताह सरकार ने कॉरपोरेट कर की दर में लगभग 10 प्रतिशत की कटौती कर दी थी।
साथ ही एफपीआई के किसी प्रतिभूति, डेरिवेटिव की बिक्री पर पूंजीगत लाभ पर बढ़े हुए कर अधिभार को भी खत्म कर दिया था। इसके अलावा भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) ने भी एफपीआई के लिए अपने अपने ग्राहक को जानो (केवाईसी) नियम सरल बना दिए हैं और उन्हें प्रतिभूति बाजार में लेनदेन की भी अनुमति दे दी है।
डिपॉजिटरी के ताजा आंकड़ों के अनुसार एफपीआई ने तीन से 27 सितंबर के बीच शेयर बाजार में 7,849.89 करोड़ रुपये का निवेश किया जबकि बांड बाजार से 135.59 करोड़ रुपये की निकासी। इस तरह उन्होंने घरेलू पूंजी बाजार में कुल 7,714.30 करोड़ रुपये का निवेश किया। पूंजी बाजार में शेयर बाजार, बांड बाजार और डेरिवेटिव में किया गया निवेश शामिल होता है। इससे पिछले महीने अगस्त में एफपीआई ने पूंजी बाजार से 5,920.02 करोड़ रुपये और अगस्त में 2,985.88 करोड़ रुपये की निकासी की थी।
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