भाकपा का घोषणा पत्र जारी, सरकार में आये तो किसानों का कर्ज करेंगे माफ

रांची। झारखंड विधानसभा चुनाव के लिए भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) ने पार्टी राज्य दफ्तर में अपना घोषणा पत्र जारी कर दिया। घोषणा पत्र में जल, जंगल जमीन की रक्षा, विस्थापन के विरुद्ध संघर्ष, भूमि अधिग्रहण कानून 2013 को लागू करने, किसानों के कर्ज माफ करने और बेरोजगारों को रोजगार उपलब्ध कराने की वादा किया।  

बुधवार को पार्टी के राज्य सचिव भुवनेश्वर प्रसाद मेहता, सहायक सचिव राजेंद्र प्रसाद यादव, राज्य कार्यकारिणी सदस्य पीके पांडेय, परशुराम सिंह व अजय कुमार सिंह तथा राज्य परिषद सदस्य उमेश नज़ीर ने संयुक्त रूप से जारी किया। इस मौके पर मेहता ने कहा कि हम अपने घोषणा पत्र में उन्हीं मुद्दों को शामिल किया है, जिस पर पिछले कई वर्ष से संघर्ष करते रहे हैं। इसलिए घोषणा पत्र हमारे संघर्ष की अभिव्यक्ति है। साथ ही पत्रकारों के सवालों का जवाब देते हुए कहा कि रघुवर की सरकार होर्डिंग और पोस्टर की सरकार है, उसका विकास से कोई मतलब नहीं है। उन्होंने कहा कि गठबंधन के नेताओं ने वामदलों के साथ विश्वासघात किया है।

मेहता ने बताया कि घोषणा पत्र में जल, जंगल जमीन की रक्षा, विस्थापन के विरुद्ध संघर्ष, भूमि अधिग्रहण कानून 2013 को लागू करने, किसानों की कर्ज माफी, बेरोजगारों को रोज़गार मुहैया कराने, तृतीय और चतुर्थ वर्ग की नौकरियों में स्थानीय लोगों की बहाली की गारंटी, पिछड़ों के लिए 27 प्रतिशत आरक्षण के लिए संघर्ष, गैर मजरुआ जमीन की रशीद कटवाने के लिए संघर्ष, पारा-शिक्षकों का स्थायीकरण, आंगनबाड़ी सेविका, सहायिका, रसोइया को न्यूनतम 10 हज़ार रुपये मानदेय देने, स्वामीनाथन आयोग की सिफारिशों को लागू करने, 60 वर्ष के अधिक के किसानों को 10 हज़ार रुपये मासिक पेंशन की गारंटी, रंगनाथ व सच्चर कमेटी की सिफारिशों को लागू कराने और ठेका मजदूरों को 18 हज़ार मासिक वेतन की गारंटी देने आदि मुद्दों को शामिल किया गया है।

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