रामगढ़ । झारखंड की सबसे खूबसूरत वादियों में शामिल पतरातू घाटी विदेशी पर्यटकों को भी लुभा रही है। यहां झारखंड के अलावा बिहार, उत्तर प्रदेश, छत्तीसगढ़ और कोलकाता से पर्यटक आते हैं। इसी वजह से पतरातू मेरा ड्रीम प्रोजेक्ट रहा है। यह बातें बुधवार की शाम रामगढ़ जिले के पतरातू में मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कही। पतरातू लेक रिसोर्ट का उन्होंने लोकार्पण किया। उन्होंने कहा कि यह रिसॉर्ट मेरी उम्मीदों पर खरा उतरा है। 70 करोड़ की लागत से बनी इस परियोजना ने रामगढ़ जिले की पहचान बदलकर रख दी है। अब रामगढ़ सिर्फ कोयला नगरी के नाम से नहीं जाना जाएगा। यह जिला अप एक बेहतरीन पर्यटन स्थल के रूप में लोगों के दिलों में स्थान बनाएगा।
उन्होंने कहा कि आज राष्ट्रपिता महात्मा गांधी और पूर्व प्रधानमंत्री लाल बहादुर शास्त्री की जयंती है। इस जयंती पर झारखंडवासियों को इससे खूबसूरत तोहफा नहीं मिल सकता था। उन्होंने कहा कि पिछले पांच वर्षों में झारखंड सरकार ने सिर्फ जनकल्याणकारी योजनाओं का ही संकल्प लिया है। लाल बहादुर शास्त्री ने जय जवान और जय किसान का नारा देकर देश में हरित क्रांति लाई थी। बापू ने भी आजाद भारत और समृद्ध भारत का सपना देखा था। झारखंड प्रदेश भी उनके सपनों को साकार कर रहा है। ऐसा कोई प्रदेश नहीं है जिसके पास 40 फीसदी प्राकृतिक सौंदर्य है। सिर्फ झारखंड को यह कुदरत ने दिया है। पहले झारखंड में बेतला नेशनल पार्क, नेतरहाट, बाबा नगरी देवघर और रजरप्पा पर्यटकों को लुभाता था, लेकिन अब पतरातू लेक रिसोर्ट भी पर्यटकों को अपनी ओर आकर्षित करेगा। पतरातू डैम पर साढ़े तीन किलोमीटर बनी खूबसूरत सड़क लोगों को मुंबई की मरीन ड्राइव की याद दिला देगा।
उन्होंने कहा कि यहां पर्यटकों को सारी सुविधा उपलब्ध कराने का लक्ष्य रखा गया है। पतरातू लेक का आइलैंड सन सेट पॉइंट के रूप में विकसित किया जा रहा है। लेक के एक छोर से दूसरे छोर तक जाने के लिए 35 सीट वाली बोट चलेगी। उन्होंने कहा कि झारखंड की प्राकृतिक छटा और जलवायु ऐसी है की यहां लोगों को सुकून मिलेगा। साथ ही रिसोर्ट बनने के बाद 1000 से अधिक लोगों को प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार भी मिलेगा। दशम फॉल, जोन्हा फॉल व अन्य जलप्रपातों में भी ऐसे विकास के कार्य किए जाएंगे। झारखंड में आने वाले दिनों में पर्यटकों की संख्या कई गुना अधिक बढ़ जाएगी।
चीन से सबसे बड़े स्तूप का गौरव छीन कर झारखंड में होगा स्थापित
मुख्यमंत्री रघुवर दास ने कहा कि इटखोरी में विश्व का सबसे बड़ा बौद्ध स्तूप बनाने का निर्णय लिया गया है। अब तक यह गौरव चीन को प्राप्त है, लेकिन जल्द ही भारत चीन से यह गौरव छीनकर झारखंड में स्थापित करेगा। इटखोरी के लिए उन्होंने कहा कि वहां तक सड़क का निर्माण हो गया है। इसके अलावा जैन धर्मावलंबियों के लिए पारसनाथ सबसे पवित्र स्थल है। पारसनाथ पहुंचने के लिए अब पहाड़ के पास तक रेल लाइन बिछाया जा रहा है। जल्द ही यह काम पूरा हो जाएगा।
उन्होंने कहा कि यह उपलब्धि सिर्फ सरकार की नहीं है बल्कि झारखंड के सवा तीन करोड़ जनता की है। झारखंड में जितना प्राकृतिक संसाधन है। इससे यह प्रदेश इतना क्षमता वान है कि किसी अमीर राष्ट्र से टक्कर ले सकता है। उन्होंने कहा कि अब तक अमीर प्रदेश की गोद में गरीबी पल रही थी, लेकिन अब यह गरीबी को दूर करने के लिए सरकार ने संकल्प लिया है। पतरातू लेक की तारीफ करते हुए उन्होंने कहा कि इस रिसोर्ट का निर्माण ऐसा किया गया है कि यहां बच्चे, नौजवान, बूढ़े और महिलाएं आराम से प्रकृति छटा का आनंद ले सकती हैं।
नवरात्र तक नहीं लगेगा रिसोर्ट में टिकट : सीएम
मुख्यमंत्री ने दशहरा को लेकर आम जनता को एक बड़ा तोहफा यह दिया। उन्होंने कहा कि नवरात्र तक इस रिसोर्ट में किसी को भी टिकट नहीं लगेगा। झारखंड की जनता इस रिसोर्ट का लुत्फ उठाएगी। साथ ही उन्होंने जनता से यह भी अपील की कि यह रिसोर्ट रामगढ़ और झारखंड वासियों का है। इसे साफ और सुंदर बनाए रखना उनका कर्तव्य है। इस मौके पर मुख्यमंत्री रघुवर दास ने खूबसूरत रिसोर्ट तैयार करने के लिए दो ठेकेदार मनीष कुमार प्रसाद और शिव कुमार को सम्मानित भी किया। कार्यक्रम में हजारीबाग सांसद जयंत सिन्हा, पर्यटन सचिव राहुल शर्मा, पर्यटन निदेशक, रामगढ़ डीसी संदीप सिंह, एसपी प्रभात कुमार मौजूद थे।
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