दुमका। अपर जिला जज टू पवन कुमार की न्यायालय ने दो वर्ष पूर्व एक गैंगरेप कांड के मामले में 11 आरोपितों को दोषी करार दिया है। इस सभी दोषियों को 10 जून को न्यायालय सजा सुनाएगा। घटना को अभियुक्तों ने दुमका के मुफस्सिल थाना क्षेत्र के दिग्घी गांव में सिदो कान्हु मुर्मू विश्वविद्यालय के समीप अंजाम दिया था। श्रीअमड़ा मोड़ से सटे ग्राम दिग्घी जाने वाली सड़क से कुछ दूरी पर एक सुनसान मैदान में अपने युवक मित्र के साथ घूमने आई 19 वर्षीय युवती को 16 लोगों ने अपनी हवस का शिकार बनाया था। 06 सितम्बर, 2017 की देर शाम करीब 7 बजे युवक व युवती काेे चार-पांच लड़कों ने घेर लिया था। इन लोगों ने दोनों से चार हजार रुपये और मोबाइल फोन यह कह कर मांगा कि तुम लोग गलत काम करने आए हो। पीड़ित और उसके दोस्त के साथ इन लोगों ने मारपीट भी की थी। इन लड़कों ने फोन करके अपने दो-तीन साथियों को वहां बुला लिया। बाद में 10-12 अन्य लड़के भी वहां पहुंच गये। इन सभी लड़कों ने पीड़ित के साथ रेप किया। पीड़ित के बयान पर पुलिस ने आठ युवकों, दानियल, अनिल, सूरज, सदाम, शहबाज, कुर्बान, इमरान और जियाउल को नामजद आरोपित बनाया था। पुलिस ने 8 सितंबर को पुलिस ने 16 आरोपितों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया था।16 आरोपितों में से 11 अभियुक्तों का मामला स्पीड ट्रायल के तहत द्वितीय अपर जिला एवं सत्र न्यायाधीश के अदालत में चल रहा था, जबकि पांच अभियुक्तों का मामला जेजेबी में चल रहा था। पुलिस अनुसंधानकर्ता ने इस केस में साक्ष्य जुटाने के लिए फॉरेंसिक विशेषज्ञों की भी मदद ली थी। एडीजे दू ने 11 अभियुक्तों को गैंग रेप का दोषी ठहराया है। गैंग रेप के दोषियों मुफस्सिल थाना क्षेत्र के गुहियाजोरी गांव के दोषी जॉन मुर्मू, मार्शल मुर्मू, कोदोखिचा के अलविनुस हेम्ब्रम, जयप्रकाश हेम्ब्रम, सुभाष हांसदा, सुरज सोरेन, ताराजोड़ा गांव के दानियल किस्कू, शैलेंद्र मरांडी, बागडुबी के सुमन सोरेन, चांदोपानी के अनिल राणा, एवं तेलियाचक गांव के सद्दाम अंसारी शामिल हैंं। आरोपितों में हाबिल टुडू, इमरान अंसारी एवं कुर्बान अंसारी का मामला चाइल्ड कोर्ट में चल रहा है। वहीं एक का मामला जुवेनाइल कोर्ट में चल रहा है। घटना को अंजाम देने वाला प्राथमिक अभियुक्त कोदोखिचा गांव निवासी नीरज हांसदा अब तक फरार चल रहा है। आरोपितों में सद्दाम अंसारी और कुर्बान अंसारी सगेे भाई हैंं। मामले में 14 लोगों की गवाही हुई। केस में बहस एपीपी सुरेंद्र प्रसाद सिन्हा ने की थी। न्यायालय ने 11 दोषियों की सजा सुनाने के लिए 10 जून की तिथी निश्चित की है।
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