सिकिदिरी के रोहनडीह में हुआ टुसू मेले का आयोजन

झारखंड की संस्कृति का प्रतीक और स्वाभिमान है टुसू :आदित्य प्रसाद साहू

 सिकिदिरी: टुसू हमारी झारखंड की संस्कृति और स्वाभिमान का प्रतीक है।टुसू की अलग-अलग रंग-बिरंगी आकृति झारखंड की एकता को दर्शाता है।उक्त बातें आजसू सुप्रीमो सह सूबे के गोमिया विधायक लंबोदर महतो ने कही। महतो बुधवार को टोटी झरना मेला समिति की ओर से सिकिदिरी के रोहनडीह झरना स्थल में आयोजित टुसू मेले में बतौर मुख्य अतिथि बोल रहे थे।उन्होंने कहा कि पूर्वजों के इस विरासत को आगे भी सहेज कर रखने की आवश्यकता है।कहा कि किसी भी समाज के रीति-रिवाज,संस्कृति व परंपरा को जारी रखने के लिए इस प्रकार का आयोजन का होना आवश्यक है।भाजपा नेता सह युवा दस्तक ओरमांझी के अध्यक्ष आशीष साहू ने कहा कि टुसू मेला हमारी संस्कृति की अहम धरोहर है।हमें अपनी संस्कृति और परंपरा को बचाने के लिए संगठित होना होगा।कहा कि संगठित होकर ही हम अपनी संस्कृति और परंपरा को बचा सकते हैं।आयोजन समिति के अध्यक्ष मनेश महतो ने बताया कि टोटी झरना फाल की ऊंचाई 300 फीट है,परंतु यह झारखंड के गुमनाम फाल में से एक है।इसे पर्यटन स्थल के रूप में विकसित करने की आवश्यकता है।इसकी पहचान बनाने के उद्देश्य से ही स्थानीय युवकों की ओर से यहां दूसरी बार टुसू मेला का आयोजन किया गया है।कहा कि टुसू मेले का आयोजन हर साल किया जाएगा।मेले में कई गांवों के लोग सुंदर और मनमोहक टुसू लेकर पहुंचे थे।इस अवसर पर लोगों ने ढोल-नगाड़ों की धुन पर जम कर नृत्य किया।आकर्षक टुसू लाने वाले मंडलियों को आयोजन समिति की ओर से अतिथियों ने पुरस्कार देकर हौसला अफजाई की।मेले में कुमार इग्नेश और राज मौर्या की म्यूजिकल ग्रुप के कलाकारों ने रंगारंग नृत्य और गीत से सबको थिरकने को विवश कर दिया।इस से पूर्व राज्यसभा सदस्य आदित्य प्रसाद साहू,भाजपा झारखंड प्रदेश किसान मोर्चा के उपाध्यक्ष अमरनाथ चौधरी व अतिथियों ने मेले का शुभारंभ पूजा-अर्चना कर संयुक्त रूप से किया।इस अवसर पाए आदित्य प्रसाद साहू ने अपने फंड से झरना स्थल पर एक शेड निर्माण कराने की घोषणा की। मौके पर अतिथि के रूप में पूर्व सांसद रामटहल चौधरी,रांची यूनिवर्सिटी के पूर्व रजिस्टार अमर चौधरी, जिला परिषद सदस्य सरिता देवी,कुर्मी विकास मोर्चा के केंद्रीय अध्यक्ष शीतल ओहदार,रामधन बेदिया,पंसस अनिल कुमार महतो,रामपोदो महतो,मुखिया राजेंद्र बेदिया,खालिक खान,सखीचंद महतो,सुनील महतो,नीलमोहन पाहन व नंदलाल राम थे।संचालन शिवधर रजवार ने किया।मेले की सफलता में अध्यक्ष मनेश महतो,सचिव शिबू महतो,बबलू महतो,प्रीतम महतो,प्रीतम महतो,रंजीत महतो,बलिराम महतो,दिलीप महतो,नागेशवर भोगता, जयलाल करमाली,मुकेश पाहन,पवन महतो,नागेशवर महतो, लक्ष्मी महतो,नरेश महतो,चंदेशवर महतो,कुलेश महतो सहित अन्य का महत्वपूर्ण योगदान रहा।

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