ओमप्रकाश चौटाला की रिहाई याचिका पर 4 दिन के अंदर फैसला करे दिल्ली सरकार

नई दिल्ली। जेबीटी शिक्षक भर्ती घोटाले में दोषी करार दिए गए हरियाणा के पूर्व मुख्यमंत्री ओमप्रकाश चौटाला ने दिल्ली हाईकोर्ट में याचिका दायर कर तिहाड़ जेल से अपनी रिहाई की मांग की है। चौटाला ने केंद्र सरकार के उस नोटिफिकेशन का हवाला दिया है जिसमें 60 वर्ष के ऊपर के पुरुष कैदियों की रिहाई की बात कही गई है। चौटाला की याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस सिद्धार्थ मृदुल ने दिल्ली सरकार से कहा कि वे चौटाला की याचिका पर 4 दिन के अंदर फैसला करें। सुनवाई के दौरान दिल्ली सरकार के वकील राहुल मेहरा ने कोर्ट को आश्वस्त किया कि सरकार चौटाला की याचिका पर विचार करेगी। चौटाला की ओर से वरिष्ठ वकील एन हरिहरन और अमित साहनी ने कहा कि केंद्र सरकार के विशेष माफी संबंधी नोटिफिकेशन के तहत 60 साल के ऊपर के पुरुष कैदियों, 55 साल के ऊपर की महिला और ट्रांसजेंडर कैदियों की रिहाई की बात कही गई है जिन्होंने अपनी सजा की आधी अवधि पूरी कर ली है। इस नोटिफिकेशन में कहा गया है कि 70 फीसदी से ज्यादा उन दिव्यांगों की भी रिहाई की जा सकती है जिन्होंने अपनी सजा की आधी अवधि पूरी कर ली है। अमित साहनी ने कहा कि चौटाला को भ्रष्टाचार निरोधक कानून के तहत दस साल की सजा मिली है। उन्होंने कहा कि चौटाला की उम्र 83 वर्ष हो चुकी है| उन्हें 60 फीसदी स्थायी दिव्यांगता है। उसके बाद जून 2013 में उन्हें पेसमेकर लगाया गया जिसके बाद वे 70 फीसदी दिव्यांगता के शिकार हैं। इसलिए नोटिफिकेशन के मुताबिक वे दो वर्गों में रिहाई के हकदार हैं। चौटाला जूनियर बेसिक ट्रेनिंग टीचर्स की भर्ती के घोटाले में दोषी करार दिए जाने के बाद दस साल की कैद की सजा काट रहे हैं। उनके साथ ही उनके पुत्र अजय चौटाला और तीन अन्य दोषी भी दस साल कैद की सजा काट रहे हैं।

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