RATRI BANDI: पुलिस को नहीं चलने पड़ी डंडे. धड़ाधड़ बंद हो गई रांची की दुकानें जाने हाल

रांची, Ratri bandi in ranchi : झारखण्ड में कोरोना के बढ़ते मामलों को देखते हुए सरकार द्वारा जारी आदेश के मुताबिक 8 तारीख से रात 8 बजे से रात्रि बंदी का ऐलान किया है. लागू की गई बंदिशों के बीच पहले दिन रात्रि बंदी में कर्फ्यू जैसे माहौल देखने को मिला. कोरोना महामारी की रोकथाम में लिए झारखंड सरकार की ओर से जारी नई गाइड लाइन का अनुपालन कराने के लिए रांची जिला प्रशासन ने गुरुवार की शाम अपनी पूरी ताक झोंक दी। जनता का सहयोग मिला। रात नौ बजे शहर का नजारा नाइट कर्फ्यू जैसे माहौल में बदल गया। पहले दिन जिला प्रशासन और पुलिस काफी मुस्तैद दिखी। शाम साढ़े सात बजे से ही इलाके की पुलिस सड़कों पर लोगों को जल्दी घर जाने और दुकानदारों को आठ बजे दुकान बंद करने की अपील करने लगी। पुलिस के द्वारा किए गए अपील का असर सड़कों पर देखने को मिला। शहर के कई इलाकों में रात आठ बजे तक दुकानें बंद हो गई। इसके साथ ही सड़क पर ठेला और सब्जी बेचने वाले भी आठ बजे से पहले ही अपना सामान समेटकर निकल लिए। थोड़ी देर में पूरा शहर खाली हो गया।

कैमरे की नजर में नजारा रात्रि बंदी (लिंक पर क्लिक करे)

रात 8 बजते ही फिरायालाल चौक पूरी तरह से बंद हो गया था बस दवाई दुकान और कुछ रेस्टोरेंट (जो होम डेलेवेरी करते है) कुली थी. कोतवाली थाना प्रभारी बड़ी संख्या में पुलिस बल के साथ फिरायालाल चौक पहुंचे। चौक पर पहुंचते ही सिपाही दुकानों में जाकर दुकानदारों को आठ बजे तक दुकान बंद करने के लिए कहते हुए दिखे। वहीं थाना प्रभारी खुद माइक से दुकानदारों और ग्राहकों से आठ बजे तक दुकान बंद करने की अपील कर रहे थे। बिना किसी जोर जबरदस्ती दे लोगो ने स्वतः अपनी दुकाने बंद कर ली. फिरायालाल पर रात 8.15 मिनट तक सारी दुकाने बंद हो गयी और सड़कें सुनसान दिख रही थी।

पहला दिन
दुकान बंद करने की तैयारी दुकानदारों ने 5 मिनट पहले से ही कर ली थी. घड़ी जैसे 8:00 पर पहुंची दुकानों में शटर धड़ाधड़ गिरने लगे. चरो तरफ शटर बंद होने की एक साथ गड़गड़ाहट सुनाई देने लगी. एक ओर पुलिस के गश्ती दल सड़कों पर नजर आने लगे, दूसरी ओर दुकानें बंद होती चली गई. इस तरह दुकानों को बंद कराने के लिए पुलिस को कोई सख्ती नहीं बरतनी पड़ी, कहीं भी डंडा नहीं चलाना पड़ा. 8:00 बजे के बाद रांची की सड़कों पर दवा दुकानों को छोड़ एक भी दुकान खुला नहीं देखा गया। कुछ ही देर के बाद सड़कों पर धीरे-धीरे सन्नाटा भी पसर गया। पुलिस की टीम का नेतृत्व एसपी सिटी सौरभ कर रहे थे।

उपायुक्त और एसपी ने शहर का मुआयना किया
रात रांची उपायुक्त छवि रंजन, सीनियर एसपी और ट्रैफिक एसपी ने पुरे शहर का में घूम घूम कर जो भी दुकाने या रेस्टोरेंट कुले थे उन्हें बंद करवाया. सभी ने रतन टाकिज से लेकर सुजाता चौक तक पैदल घूम कर ये सुनिश्चित किया की सभी नियमो का पालन हो रहा है की नहीं.

चर्च काम्‍प्लेक्स
चर्च कांप्लेक्स की भी सभी दुकाने सवा आठ बजे तक बंद हो गई. उसे पर्व पुलिस के द्वारा माइक से आठ बजे तक दुकान बंद करने की अपील की जा रही है। इसका असर ज्यादातर दुकानों में दिखा. सभी दुकानदार जल्दी-जल्दी दुकान बंद करने लग गए. हालांकि आभूषण की दुकाने सात बजे से ही बंद होनी शुरू हो गयी थी. आठ बजे ने पहले कांप्लेक्स की 90 प्रतिशत दुकानें बंद हो गयी. रात सवा आठ बजे तक चर्च कांप्लेक्स पूरी तरह से खाली हो गया। कांप्लेक्स में केवल रेस्टोरेंट जो होम डेलेवेरी करते है वे ही खुले दिख रहे थे.

अपर बाजार का हल
अपर बाजार चुकी थोक मंडी है और वहा 7 बजे तक अधिकतर दुकाने बंद हो जाती है और कुछ दुकाने जो खुली थी वे पुलिस के द्वारा पूरे बाजार में घुमकर आठ बजे तक दुकान बंद करने की अपील करने के बाद इसका असर बाजार के दुकानदारो पर दिका और लगभग सभी दुकाने बंद हो गई. दुकानदार ग्राहकों से कल आने की अपील करते हुए भी दिखें। रात आठ बजे तक अपर बाजार पुरी तरह से सुनसान हो गया था. रंगरेज गली, गांधी चौक, महावीर चौक सभी मार्केट में दुकाने बंद हो चुकी थी.

मेन रोड व अपर बाजार पर पुलिस का विशेष फोकस
रांची के मेन रोड और अपर बाजार में विशेष तौर पर पुलिस ने फोकस कर रखा था. पुलिस की अलग-अलग टीमें दुकानें बंद करवाने निकली थी. हालांकि पुलिस के गुजरने के दौरान ही सारी दुकानें बंद हो चुकी थी. पुलिस को मेन रोड के किसी भी दुकानदार को बंद कराने के लिए फटकार लगाने की नौबत नहीं आई. रांची के मेन रोड में एक ओर कोतवाली थाना प्रभारी शैलेश प्रसाद, दूसरी ओर लोअर बाजार थाना प्रभारी सतीश कुमार, हिंदपीढ़ी थानेदार ज्ञान रंजन कुमार, चुटिया थानेदार रवि ठाकुर सहित अन्य अधिकारी निकले थे अपने अपने क्षेत्र में भ्रमण करते नजर आये. थानेदार की क्षेत्र भ्रमण से पहले ही दुकानें बंद नजर आई.

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